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“हनुमान जी को तुलसी क्यों चढ़ाई जाती है? जानिए आस्था, विज्ञान और चमत्कारों का दिव्य रहस्य”

“हनुमान जी को तुलसी क्यों चढ़ाई जाती है? जानिए आस्था, विज्ञान और चमत्कारों का दिव्य रहस्य”

हनुमान जी को तुलसी अर्पित करने से संकट दूर होते हैंhttp://: https://bhakti.org.in/hanuman-ji-tulsi-mahatva/

हिंदू धर्म में पूजा-पाठ केवल परंपरा नहीं बल्कि गहन आध्यात्मिक विज्ञान है। प्रत्येक देवी-देवता से जुड़ी वस्तु, फूल, पत्ती या भोग के पीछे कोई न कोई रहस्य अवश्य छिपा होता है।
इसी प्रकार जब भी हनुमान जी की पूजा की जाती है, तो उनके चरणों में तुलसी दल अवश्य अर्पित किया जाता है।लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि हनुमान जी को तुलसी ही क्यों चढ़ाई जाती है? क्या यह केवल परंपरा है या इसके पीछे कोई पौराणिक कथा, आध्यात्मिक संकेत और वैज्ञानिक कारण भी है?

इस स्क्रिप्ट में हम विस्तार से जानेंगे:

पौराणिक कथा

तुलसी और हनुमान जी का आध्यात्मिक संबंध

तुलसी चढ़ाने के चमत्कारी लाभ

तुलसी से जुड़े नियम

आम भक्तों के प्रश्न और उनके उत्तर

 तुलसी का धार्मिक महत्व

तुलसी को हिंदू धर्म में माता लक्ष्मी का स्वरूप माना गया है। शास्त्रों के अनुसार, जिस घर में तुलसी का पौधा होता है, वहां:

नकारात्मक ऊर्जा नहीं टिकती

दरिद्रता दूर रहती है

भगवान विष्णु का वास होता है

तुलसी केवल एक पौधा नहीं, बल्कि जीवित देवी मानी जाती हैं।

 हनुमान जी कौन हैं?

हनुमान जी को:

रामभक्त

अष्टसिद्धि नव निधि के दाता

संकटमोचन

ब्रह्मचारी

अजर-अमर

कहा गया है।

उनका जीवन सेवा, त्याग और ब्रह्मचर्य का आदर्श है।

 पौराणिक कथा: हनुमान जी और तुलसी

एक प्रसिद्ध कथा के अनुसार: एक बार तुलसी माता ने हनुमान जी को अपने पति रूप में स्वीकार करने की इच्छा प्रकट की। हनुमान जी ने विनम्रता से कहा कि वे आजीवन ब्रह्मचारी हैं और भगवान राम की सेवा ही उनका जीवन है। तुलसी माता को यह उत्तर स्वीकार नहीं हुआ और उन्होंने हनुमान जी को पत्थर बनने का श्राप दे दिया। हनुमान जी ने भी शांत भाव से कहा कि वे तुलसी माता को आशीर्वाद देते हैं कि उनके बिना राम पूजा अधूरी रहेगी

इसी कारण:

राम जी की पूजा में तुलसी अनिवार्य है और हनुमान जी की पूजा में तुलसी अर्पित करने से वे शीघ्र प्रसन्न होते हैं यह कथा त्याग, मर्यादा और भक्ति का अद्भुत उदाहरण है।

हनुमान जी को तुलसी चढ़ाने का आध्यात्मिक कारण

 राम भक्ति का प्रतीक

हनुमान जी का प्रत्येक श्वास राम नाम से जुड़ा है। चूंकि तुलसी भगवान राम को अत्यंत प्रिय है, इसलिए: “जो तुलसी राम को प्रिय है, वही हनुमान को भी प्रिय है।”

ब्रह्मचर्य की ऊर्जा

तुलसी सात्त्विक होती है।
यह:

मन को शांत करती है

वासना पर नियंत्रण देती है

आत्मबल बढ़ाती है

इसी कारण ब्रह्मचारी हनुमान जी को तुलसी अर्पित करना अत्यंत फलदायी माना गया है।

 नकारात्मक शक्तियों का नाश

तुलसी में ऐसी दिव्य ऊर्जा मानी जाती है जो:

भूत-प्रेत

नजर दोष

तंत्र-मंत्र

को निष्क्रिय कर देती है।
हनुमान जी स्वयं रक्षक देवता हैं, इसलिए तुलसी उनकी शक्ति को और जागृत करती है।

 वैज्ञानिक दृष्टिकोण

आधुनिक विज्ञान भी तुलसी को:

एंटी-बैक्टीरियल

एंटी-वायरल

तनाव कम करने वाला

मानता है।

हनुमान चालीसा पाठ के साथ तुलसी की सुगंध:

मस्तिष्क को शांत करती है

भय को कम करती है

आत्मविश्वास बढ़ाती है

तुलसी चढ़ाने की सही विधि

 मंगलवार या शनिवार
 स्नान के बाद
 लाल फूल के साथ
 5 या 11 तुलसी दल
 “ॐ नमो भगवते हनुमते नमः” मंत्र

ध्यान रखें:

बिना स्नान तुलसी न तोड़ें

रविवार को तुलसी न तोड़ें

तुलसी चढ़ाने के चमत्कारी लाभ

जीवन के संकट दूर होते हैं

कोर्ट-कचहरी में विजय

भय और शत्रु बाधा समाप्त

नौकरी और व्यापार में उन्नति

नकारात्मक शक्तियों से रक्षा

 क्या हनुमान जी को तुलसी के साथ सिंदूर भी?

हाँ, तुलसी + सिंदूर का योग अत्यंत शक्तिशाली माना गया है।यह भक्ति और शक्ति का संतुलन है।

लोगों द्वारा पूछे जाने वाले प्रश्न 

Q1. क्या बिना तुलसी के हनुमान पूजा अधूरी है?

 नहीं, लेकिन तुलसी से पूजा अधिक फलदायी होती है।

Q2. क्या सूखी तुलसी चढ़ा सकते हैं?

 हाँ, अगर वह साफ और पवित्र हो।

Q3. रोज तुलसी चढ़ा सकते हैं?

 हाँ, विशेष रूप से मंगलवार को।

Q4. क्या महिलाएं तुलसी चढ़ा सकती हैं?

बिल्कुल, शुद्धता आवश्यक है।

Q5. तुलसी माला से हनुमान मंत्र जप कर सकते हैं?

 हाँ, यह अत्यंत शुभ है।

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