क्या भगवान हमें देख रहा है? ,
भगवान हर जगह दिखाई नहीं देते, लेकिन हम उन्हें अनुभव कर सकते हैं
हाँ, बहुत से लोग मानते हैं कि भगवान हमें देखते हैं हा लाँकि हम उन्हें प्रत्यक्ष रूप से नहीं देख सकते, बल्कि उनके प्रति अपने मन और कर्मों से अनुभव कर सकते हैं. कुछ लोग मानते हैं कि भगवान हमारे कर्मों को देखते हैं और उसके अनुसार फल देते हैं.

कुछ लोग मानते हैं कि ईश्वर हर जगह और हर चीज में व्याप्त है, लेकिन हम उसे अपनी साधारण आँखों से नहीं देख सकते, बल्कि ध्यान, भक्ति और तपस्या के माध्यम से अनुभव कर सकते हैं. कुछ लोगों का मानना है कि भगवान भक्तों के हृदय में वास करते हैं और उनकी भक्ति और विश्वास से प्रसन्न होते हैं. कुछ धार्मिक ग्रंथों में, जैसे कि भगवत गीता, बताया गया है कि ईश्वर को देखने के लिए दिव्य दृष्टि की आवश्यकता होती है, जो तपस्या और ईश्वर की कृपा से प्राप्त होती है. जिस तरह पानी को गर्म करने का बाद नमक के कण दिखाई दिए, ठीक उसी तरह जब हम ध्यान, भक्ति और तप करते हैं, तब हमें भगवान के दर्शन हो सकते हैं। इसके लिए हमें हमारी बुराइयों को छोड़ना पड़ता है, तभी हम ईश्वर को प्राप्त कर सकते हैं।
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